लम्पी वायरस क्या है | लम्पी वायरस के लक्षण | Lumpy Virus in Hindi

अभी जहाँ लोगों के अन्दर से कोरोना जैसी खतरनाक बीमारी का डर समाप्त हो ही पाया है, कि अब वर्तमान समय में जानवरों को लेकर एक बहुत बड़ी बीमारी उभर कर सामने आ गई है, जो जानवरों के लिए बेहद खतरनाक और जानलेवा साबित हो रही है | इस बीमारी का नाम लम्पी वायरस है, जो अधिकतर गायों के ऊपर अधिक हावी हो रही है | इसके साथ ही धीरे-धीरे अन्य जानवर भी इस बीमारी के शिकार बनते जा रहे है |

लम्पी वायरस एक खतरनाक वायरस है, जिससे अभी तक कई हजार जानवरों की मौत हो चुकी है और अभी भी यह बीमारी थमने का नाम नहीं ले रही है | इसलिए यदि आपको अपने जानवरों को लेकर सतर्क रहना है और आप इस वायरस से सम्बंधित जानकारी प्राप्त करने के इच्छुक है, तो आप इस लेख के माध्यम से लम्पी वायरस से सम्बंधित पूरी  जानकारी प्राप्त कर सकते है, इसमें आपको लम्पी वायरस क्या है | लम्पी वायरस के लक्षण के बारे में पूरी जानकारी प्रदान की जा रही है |

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लम्पी वायरस क्या है (What is Lampi Virus) ? 

लम्पी वायरस (lampi virus) एक ऐसा वायरस है, जो अभी तक जानवर में तेजी के साथ फैल रहा है |  लम्पी वायरस  बीमारी दुधारू पशुओं में पाई जाने वाली एक जानलेवा बीमारी है । इस जानलेवा वायरस को अधिकतर गायों में देखने को मिल रहा है, क्योंकि अभी तक इस वायरस से संक्रमित होने वाली गायों की संख्या सबसे अधिक पायी गई है | इस खतरनाक वायरस को विश्व पशु स्वास्थ्य संगठन की ओर से अधिसूचित बीमारी घोषित कर दी गई है | इसलिए जानवर की देखभाल कर रहें लोगों को अपने जानवरों को बचाने का प्रयास करते रहना चाहिए | अभी इस वायरस का किसी भी प्रकार का कोई भी इलाज सामने नहीं आया है, जिससे जानवरों को इस वायरस से बचाया जा सके | आप अपने घरेलू उपायों से ही अपने जानवरों को सुरक्षित रख सकते है | 

लम्पी वायरस फैलने वाले राज्य (Lampi Virus State)

यह खतरनाक लम्पी वायरस अभी देश के 12 राज्यों में अपना कहर दिखा रहा है | राजस्थान में इस वायरस से बड़ी तदाद में जानवरों की मौते हो रही है, क्योंकि वर्तमान  में 57 हजार मवेशियां इस वायरस की चपेट में आ चुके है | इसके साथ-साथ, उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, मध्य प्रदेश, हरियाणा और पंजाब जैसे राज्यों में भी जानवर इस वायरस के शिकार होते जा रहे है | वहीं इस वायरस को लेकर केंद्र सरकार ने कहा है कि, लंपी वायरस से निपटने के लिए सभी 12 राज्यों से समन्वय स्थापित किया जा रहा है |  

लम्पी वायरस कैसे फैलता है (lampi virus)?

लम्पी वायरस से संक्रमित पशु यदि किसी दूसरे पशु के सम्पर्क में चले जाते है, तो वह सामने वाला जानवर भी इस वायरस का शिकार हो जाता है | इसलिए इस वायरस से संक्रमित पशु दूसरे अन्य पशुओं से दूर रखें और अपने पशुओं के आस-पास साफ-सफाई का वातावरण करने की कोशिश करें, क्योंकि यह वायरस मुख्य रूप से मच्छरों, मक्खियों, तत्तैयो, जूं आदि से तेजी के साथ फैल रहा है | इसके अलावा इस वायरस से अपने पशुओं को बचाने के लिए समय पर लक्षणों की पहचान कर लें और साथ ही उस संक्रमित जानवर को अन्य जानवरों से दूर करके उसका घरेलू इलाज करना ही एकमात्र रास्ता बचता है | 

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लम्पी वायरस के लक्षण

  1. यदि कोई भी पशु लम्पी वायरस से संक्रमित होता है, तो वह पशु तेज बुखार से भी संक्रमित बना रहेगा | 
  2. वायरस से संक्रमित होने पर आपके पशु का दूध देने की मात्रा में अत्यधिक कमी दिखाई देने लगेगी | 
  3. लम्पी वायरस हो जाने के बाद पशुओं की त्वचा पर छोटे और बड़े चकत्ते और गांठे नजर आने लगती है | 
  4. पशुओं का चारा-पानी भी कम होने लगता है | 
  5. इस वायरस से ग्रसित पशु के पैरों में सूजन और लंगड़ापन आने की शुरुआत हो जाती है | 
  6. वायरस से संक्रमित होने जाने के बाद से नर पशु में कार्य करने की क्षमता कम होने लगती है | 
  7. पशुओं का वजन धीरे-धीरे कम होने लगता है | 
  8. यदि आपके पशु में लार बहना या आँख नाक से पानी आने लगता है, तो इस तरह के लक्षण भी लम्पी वायरस के ही लक्षण कहे जाते है | 

लम्पी वायरस से पशुओं को कैसे बचाए 

  1. किसी भी पशु के संक्रमित हो जाने पर दूसरे पशुओं को उससे दूर रखने का प्रयास करें |
  2. अपने पशुओं के स्थान पर किसी भी प्रकार गंदगी का वास न होने दें | 
  3. पशुओं के आस-पास मक्खी मच्छर आदि को आने से रोकने के लिए पहले से ही स्प्रे या अन्य  किसी घरेलू वस्तु का प्रबंध कर लें और समय – समय पर उसका इस्तेमाल करें |
  4. किसी संक्रमित पशु की मृत्यु हो जाने के बाद उसे फेंकने के लिए अपने आप को भी सुरक्षित रखने का प्रयास करें | इसलिए आप अपने हाथ में ग्ल्प्स पहनकर रखें और साथ ही मुंह भी ढककर रखें, क्योंकि इससे आपके अंदर भी कुछ मात्रा में कीटाणु जाने की संभावनाएं है और  मृतक पशु को खुले स्थान पर न डाले |
  5. लम्पी वायरस को अपने क्षेत्र में आने से रोकने के लिए समय – समय पर कीटनाशक दवाइयों का छिड़काव कराते रहना आवश्यक होता है | 
  6. यदि आपको अपने पशु को लप्मी वायरस से बचाना है, तो आप डॉक्टर की सलाह लेने के बाद  संक्रमित पशुओं को गोटपॉक्स वैक्सीन का डोज दे सकते है | 
  7. यदि डॉक्टर पशुओं को मल्टी विटामिन की दवाइयां देने के लिए कहें, तो समय रहते आप अपने पशुओं को मल्टी विटामिन की दवाइयां भी खिला सकते है | 
  8. वर्तमान समय में Lampi Virus से पशुओं को बचाने के लिए एंटीबायोटिक्स, एंटी इंफ्लेमेटरी और एंटीहिस्टामिनिक दवाएं भी प्रदान की जा रही है | 

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