ई पासपोर्ट क्या है ? बॉयोमेट्रिक पासपोर्ट (Chip Enabled Passport) की विशेषता

हमारे देश में ऐसे बहुत से लोग है, जो उच्च शिक्षा प्राप्त करने, नौकरी या घूमने के उद्देश्य से विदेश जाना चाहते हैं | ऐसे में उनके पास पासपोर्ट होना अत्यंत आवश्यक है क्योंकि बिना पासपोर्ट विदेश यात्रा संभव नही है | पासपोर्ट विदेश यात्रा के अलावा हमारे लिए एक महत्वपूर्ण दस्तावेज के रूप में भी कार्य करता है | हालाँकि वर्तमान समय में पासपोर्ट बनाने के लिए भी बिजनेस शुरू हो गया है, कई लोग फर्जी तरीके से पासपोर्ट बनाने लगे है |

ऐसे में भारत सरकार नें आम नागरिकों की सुरक्षा और सुविधा को गंभीरता से लेते हुए ई-पासपोर्ट जारी करने का निर्णय लिया है | इसके लिए वित्त मंत्री जी नें आम बजट 2022-23 में ई-पासपोर्ट का की घोषणा की है | ऐसा अनुमान लगाया जा रहा है, कि ई-पासपोर्ट के आने से फर्जी पासपोर्ट पर लगाम लगेगी | ई पासपोर्ट क्या है? और  बॉयोमेट्रिक पासपोर्ट(Chip Enabled Passport) की विशेषता के बारें में आपको यहाँ पूरी जानकारी प्रदान की जा रही है |

पासपोर्ट (Passport) क्या है

ई पासपोर्ट क्या है (E passport Kya Hai)

ई पासपोर्ट को बायोमेट्रिक पासपोर्टया डिजिटल पासपोर्ट के रूप में भी जाना जाता है | यह ई पासपोर्ट वर्तमान में चल रहे पेपर वाले पासपोर्ट की तरह ही होता है | सिर्फ इसमें एक एम्बेडेड इलेक्ट्रॉनिक माइक्रोप्रोसेसर चिप लगी होती, जिसमें बायोमेट्रिक जानकारी होती है | जिसका उपयोग पासपोर्ट धारक की पहचान को प्रमाणित करने के लिए किया जाता है। इसमें संपर्क रहित स्मार्ट कार्ड तकनीक का उपयोग किया जाता है, जिसमें पासपोर्ट के फ्रंट या बैक कवरया सेंटर पेज में एम्बेडेड माइक्रोप्रोसेसर चिप (कंप्यूटर चिप) और एंटीना (चिप और संचार दोनों की शक्ति के लिए) शामिल होती है। इसके साथ ही पासपोर्ट की महत्वपूर्ण जानकारी पासपोर्ट के डेटा पेज पर प्रिंट होती है |

आपकी जानकरी के लिए बता दें, कि ई-पासपोर्ट अंतर्राष्ट्रीय मानकों के आधार पर बनाए जाएंगे, जिनका निर्धारण इंटरनेशनल सिविल ऐवियेशन ऑर्गनाइजेशन (ICAO) किया जाता  है | अन्तरराष्ट्रीय नागर विमानन संगठन (ICAO) संयुक्त राष्ट्र से जुड़ी एजेंसी है, जो ऐवियेशन से जुड़ी पॉलिसी पर नजर रखने का कार्य करती है |

बायोमेट्रिक डेटा क्या है (Biometric Data Kya Hai)

साधारण शब्दों में बायोमेट्रिक्स वह मीट्रिक है, जो आपके शरीर की विशेषताओं से संबंधित होती है। यह डेटा अद्वितीय अर्थात यूनिक जैसे- आपकी आंखें, फिंगरप्रिंट, चेहरा और अन्य विशेषताएं हो सकती हैं। बॉयोमीट्रिक तकनीक के सबसे आम उदाहरण स्मार्टफोन है, जिसमें फिंगरप्रिंट और चेहरे की पहचान का उपयोग अधिकांश लोग प्रतिदिन करते हैं |

यह सुरक्षा सुविधाएं आपकी पहचान को सत्यापित करने के लिए आपकी विशिष्ट भौतिक विशेषताओं का उपयोग करती हैं। ई-पासपोर्ट के मामले में यह बायोमेट्रिक डेटा आपके उंगलियों के निशान हो सकते हैं। सरकार नया पासपोर्ट जारी करने से पहले ही आपकी उंगलियों के निशान सहेज लेती है। माइक्रोचिप में संग्रहीत जानकारी के साथ किसी भी इमिग्रेशन काउंटर पर अपनी पहचान की कम्पेयर करना और वेरीफाई करना बिल्कुल सरल आसान हो जाएगा।

ईपासपोर्ट के लाभ (E-passport Benefits)

ई-पासपोर्ट या इलेक्ट्रोनिक पासपोर्ट के लाभ इस प्रकार है- 

समय की बचत -: ई-पासपोर्ट वाले यात्रियों को विस्तारित अवधि (Extended Period) के लिए प्रतीक्षा करने की आवश्यकता नहीं है, क्योंकि कुछ ही सेकंड में इसकी जांच की जा सकती है।

आसान-ट्रैकिंग -: यह लोगों के बायोमेट्रिक डेटा पर नज़र रखता है, जिसके कारण डेटा चोरी और डुप्लीकेट पासपोर्ट के निर्माण को प्रतिबंधित किया जा सकेगा।

प्रामाणिकता -: यदि ई पासपोर्ट में किसी प्रकार का हस्तक्षेप किया जाता है, तो चिप पासपोर्ट प्रमाणीकरण विफल अर्थात ऑथेंटिकेशन फेल हो जाएगा। 

सुरक्षित -: ई पासपोर्ट में किसी भी तरीके से कोई भी डेटा डिलीट नहीं किया जा सकता है, जो सिक्यूरिटी सिस्टम को मजबूत करता है। ई पासपोर्ट के शुरू होनें से मार्केट में नकली पासपोर्टों को बंद करने में मदद मिलेगी।

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बॉयोमेट्रिक पासपोर्ट (Chip Enabled Passport) की विशेषता

ई-पासपोर्ट में एक इनलाइड चिप होगी, जिसमें पासपोर्ट धारक की सभी व्यक्तिगत जानकारी होगी। पासपोर्ट के पीछे लगाई जाने वाली चिप  64 किलोबाइट स्टोरेज स्पेस और एक एम्बेडेड आयताकार एंटीना के साथ आएगी। चिप में शुरुआत में 30 अंतरराष्ट्रीय यात्राओं तक का डेटा होगा। हालाँकि बाद में चिप पासपोर्ट धारक की तस्वीर के साथ-साथ बायोमेट्रिक डेटा जैसे उंगलियों के निशान को संग्रहीत किये जायेंगे। रिपोर्ट्स के मुताबिक, यदि कोई चिप से छेड़छाड़ करने की कोशिश करता है, तो पासपोर्ट ऑथेंटिकेशन फेल हो जाएगा।

ई-पासपोर्ट का भविष्य क्या है (E-passport Future)

नए पासपोर्ट के लिए आवेदन करने की प्रक्रिया में कोई बदलाव नहीं होगा और आवेदन पत्र में कोई बदलाव नहीं किया जाएगा। रिपोर्टों के अनुसार, विदेश मंत्रालय भारत के सभी 36 पासपोर्ट कार्यालयों को ई-पासपोर्ट वितरित करेगा। जारी करने की प्रक्रिया भी नहीं बदलेगी। संयुक्त राज्य अमेरिका, यूनाइटेड किंगडम और जर्मनी सहित 120 से अधिक देशों ने पहले ही ई-पासपोर्ट अवधारणा को अपनाया है, जिसमें सभी के पास बायोमेट्रिक ई-पासपोर्ट सिस्टम हैं।

ई पासपोर्ट का निर्माण कौन करेगा (Who will Produce E-passport)

सरकार ने आईसीएओ मानकों के अनुरूप इलेक्ट्रॉनिक कॉन्टैक्टलेस इनले खरीदने का ठेका नासिक स्थित इंडिया सिक्योरिटी प्रेस (आईएसपी) को दिया है। आईएसपी ई-पासपोर्ट के निर्माण के लिए आवश्यक ऑपरेटिंग सिस्टम भी खरीदेगा । जैसे ही ISP इलेक्ट्रॉनिक कॉन्टैक्टलेस इनले और ऑपरेटिंग सिस्टम की खरीद पूरी करेगा, सरकार नए पासपोर्ट जारी करना शुरू कर देगी। मीडिया से प्राप्त जानकरी के अनुसार नए ई-पासपोर्ट के लिए आवेदन प्रक्रिया पारंपरिक पासपोर्ट की भांति ही होगी।

हालाँकि अभी तक सरकार द्वारा 20,000 आधिकारिक और राजनयिक ई-पासपोर्ट जारी किए हैं, परन्तु इसमें भारत के आम नागरिकों को शामिल नही किया गया है। सरकार ने 2008 में भारत की पूर्व राष्ट्रपति प्रतिभा पाटिल को पहला ई-पासपोर्ट जारी किया था। आपकी जानकारी के लिए बता दें, कि इलेक्ट्रिनिक पासपोर्ट (E Passport) इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (IIT) कानपुर और, एनआईसी अर्थात राष्ट्रीय सूचना विज्ञान केंद्र, इन्टरनेट सर्विस प्रोवाइडर (ISP) और विदेश मंत्रालय के अधिकारियों द्वारा डेवलप किया जाएगा |

महामारी के दौरान ई-पासपोर्ट कैसे फायदेमंद है (How E-passport is Beneficial During Pandemic)

कोविड -19 की धीमी गति के बावजूद अंतरराष्ट्रीय यात्रा को जल्द ही शुरू किये जानें की संभावना है। ई-पासपोर्ट सुविधा शुरू होनें से सुरक्षा में सुधार होगा, जबकि सीमा शुल्क पर लंबी लाइनों को कम करके विदेशी यात्रियों की सुविधा में भी सुधार होगा। इसके अलावा यात्री और यात्रा दस्तावेज दोनों की तुलना इलेक्ट्रॉनिक चिप में बायोमेट्रिक डेटा से की जा सकेगी । महामारी से प्रभावित माहौल मेंयह अंतरराष्ट्रीय यात्रा को तीव्रता से ठीक करने में सहायता मिलेगी ।

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